शिवरात्रि भजन लिरिक्स:- सुर – ताल, गीत, संगीत, भजन आदि प्रकृति द्वारा दी गई ऐसी देन है जिससे आदमी दुनिया के सारे दुःख और परेशानियों से दूर जाकर किसी एक लक्ष्य को मस्ती से प्राप्त करे। जैसे Filmo में किसी story के बीच में फिल्मकार द्वारा गीत दिखाया सुनाया जाता है जिससे मुड़ को चेंज कर मस्ती ली जा सके। उसी तरह हम सांसारिक जीवन जीते जीते भगवान के भजन गा सुनकर भक्ति में गोते लगाते है। Shivratri Bhajan Lyrics से भगवान शिव की महिमा का गुणगान करने से भक्तो के मन आत्मा में शिव भक्ति की बयार चलने लगती है।
शिव के जीवन चरित्र, भगवानों और चमत्कारों का वर्णन गान कर भजन रूप में एक तरह से पूजा की तरह होता है। प्राकृतिक भजन एक ऐसी मनमोहक रचना है जो गायक और श्रोता को दुनिया के सारे झंझटों से दूर हटकर भगवान शिव को स्वयं मानसिक रूप से प्रभावित कर देती है। कुल समग्र शिवरात्रि भजन लिरिक्स एक प्रकार से पूजा है जिससे भगवान शिव को प्रसन्न कर कृपया प्राप्त कर सकें। हम आपको शिवरात्रि भजन लिरिक्स प्रस्तुत कर रहे हैं –
शिवरात्रि के दिन शिवलिंग पर क्या चढ़ाना चाहिए?
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शिवरात्रि भजन लिरिक्स
भोले की बारात – मेरी प्यारी बहनिया
मेरी पार्वती मैया, बनेगी दुलहनिया, सज के आयेंगे भोले बाबा।
भेरू बाबा बजाएंगे बाजा,भेरू बाबा बजाएंगे बाजा।।
सोला श्रृंगार मेरी मैयाजी करेगी, टीका चढ़ेगा और हल्दी चढ़ेगी।
मैया के होठों पर झूलेगी नथानिया, और झूलेंगे भोले बाबा।।
भेरू बाबा बजाएंगे बाजा……. मेरी पार्वती…….।।
बन के बाराती देखो, ब्रह्मा विष्णु आए,
लक्ष्मी भी आई संग में, नारद जी भी आए।
मैया के हाथो में मेहंदी रचेगी, और निरखेंगे भोलेबाबा।।
भेरू बाबा बजाएंगे बाजा……. मेरी पार्वती…….।।
घर से चलेगी मैया डोली में बैठेगी,
धरती पे मैया रानी पांव ना धरेगी।
पलको की पालकी में मैया को बिठा के, ले जायेंगे भोले बाबा ।।
भेरू बाबा बजाएंगे बाजा……. मेरी पार्वती…….।।
भक्त जन भी भजन सुनावे, भजन बिना चैन न आवे ।
भक्त के नैना दर्शन को तरसे, अब तो आ जाओ भोले बाबा।।
भेरू बाबा बजाएंगे बाजा……. मेरी पार्वती…….।।
ॐ नमः शिवाय
जो बंद है वो शांत है, खुले तो सर्वनाश है
वो कपाल पर तीसरी आंख है, बसता जिसमे सारा संसार है।
उसकी त्रिशूल में भूचाल है, वो तांडव करे तो हाहाकार है।
कदमों पे जिनके कैलाश है, तीनों लोक में वही महान है।
अजर अमर अविनाशी है, जन्म नही उसका अवतार है
ना है चांदी ना है सोना, रुद्राक्ष है जिसका गहना ।
शिवालो में जिसके सम्मुख नंदी का प्रथम स्थान है।
तीनों लोक में वही महान है।
हाथ में डमरू जिसका बजता दुनिया में डंका ।
गले में नाग जटाओ से बहती अविरल गंगा।
कंठ जिसका नीला मन है उसका भोला।
मानसरोवर तख्त, चांद जिसके माथे का ताज है।
तीनों लोक में वही महान है।
उससे सब सम्पूर्ण, उसके बिना सब शेष।
पंचामृत से होता जिसका अभिषेक।
गोरा पति गणेश पिता नतमस्तक जिसके आगे विष्णु विधाता।
जाप जिसका ॐ नमः शिवाय है।
तीन लोक में वही महान है।
देवो का देव है, चांडाल का काल है।
वो मेरा महाकाल है। वो मेरा महाकाल है।
दुनिया बनाने वाले (कजरा मोहब्बत वाला)
दुनिया बनाने वाले, जीवन तेरे हवाले।
अपना बना ले मुझे दास, सेवा करू मैं दिन रात।।
माथे पर चंदा चमके, जटा से गंगा छलके।
दुनिया का मालिक, देखो तन पे भभूति मलके।।
कमर में मृगछाल, गले में मुंडो की माल ।
आंख नशे में करी लाल,सेवा करू मैं दिन रात।।
दुनिया……..
भोले भक्तो के बाबा, भोले भंडारी दाता।
गले विषधारी बाबा, कालो के काल दाता ।।
हाथों में डमरू बाजे, भूत पलीत नाचे ।
नाचे है देखो भेरुनाथ। सेवा करू मैं दिन रात।।
दुनिया………..
बंगला ना कोठी मांगू, दौलत ना कार मांगू।
दुनिया के मालिक, मैं तो तेरा दीदार मांगू ।।
झलक दिखा दे तेरी, बिगड़ी बना दे मेरी ।
अंखियां भी जावे तेरी वाट। सेवा करू मैं दिन रात।।
दुनिया………..
ओ बाबुल प्यारे
ओ शंकर भोले ओ………।
डमरू बाजे है डम डम, ओ तेरे दर पे आए हम।
ओ निस दिन तुझे पुकारे मन…. ओ शंकर भोले…।
तेरे ही दर्शन को अखियां प्यासी, तेरे लिए है उदासी….
तेरे दर पे आए हैं, हम सर झुकाए है…….।
तरसे तेरे दरश यह नयन……
दरस दिखा दो शिव भंडारी, तेरे ही हम हैं पुजारी ओ..।
मन की इच्छा अधूरी, हो जाएगी पूरी।
याद करते रहे हरदम……….।
आखिर विनती करते चाकर, सुख दाता के सागर ओ..।
तेरी लीला अपरम्पार, जाए भवसागर से तार।
करता हूं मैं यूं नमन । ओ शंकर भोले ओ………।
ले जाएंगे ले जाएंगे दिलवाले दुल्हनिया ले जाएंगे
बम लहरी, बम लहरी, शिव शंकर भोले बम लहरी।
भंग गहरी, भंग गहरी, शिव शंकर पीवे भंग गहरी ।। कान कुंडल पड़ी रूण्डन की माला।
कंधे पर जनेऊ, गले सर्प है काला।
चार भुजा नैन तीसरे में ज्वाला।
सब देवन में है देव निराला ।
शीश पर चंदा, बहती है गंगा, जटा से सर सर आवे ।
बम लहरी, बम लहरी………।
अंग पे भस्म देखो बिछी मृग छाला।
कर में त्रिशूल और डमरू है आला।
भूतनाथ भोला काशी रहने वाला।
भक्तों का भोला है सदा रखवाला।
नांदे पे सवारी है,बाएं अंग गिरजा,गोदी में गणपतलाला
बम लहरी, बम लहरी………।
कैलाश पर भोला समाधि लगावे ।
आक धतूरा भोला नित को खावे।
भूतों के साथ भोला नृत्य बतावे ।
कालों का महाकाल तू कहलावे।
बाघंबर,चिमटा, तुम्बी और माला, शिव के मन भाए
बम लहरी, बम लहरी………।
गंगा जलधारी जो शिव पर चढ़ावे।
मनचाहा वर वोही शिव से पावे।
भोले का भजन कथा भक्त गावे।
भक्त मंडल देखो दर्शन पावे ।
शिव जी की दया से सूरज हरगुन हरदम मौज मनावे।
बम लहरी, बम लहरी………।