Mahashivratri 2024: शिवरात्रि के दिन शिवलिंग पर क्या चढ़ाना चाहिए

भगवान शिव जिनको वस्त्र, धाम, खाने पीने में कोई रुचि नहीं भला उन शिव को अपनी उपासना में क्या आवश्यकता रहती होगी? भगवान शिव को उपासना पूजा में सबसे ज्यादा एक लोठ्ठा जल से ही संतुष्टि प्राप्त हो जाती है, और भक्त आशीर्वाद और कृपा भगवान शिव से प्राप्त कर ही लेता है । फिर भी शिवरात्रि के दिन शिवलिंग पर क्या चढ़ाना चाहिए इसका विस्तार से जानकारी प्राप्त करेंगे।

Shivratri Ke Din Shivling Par Kya Chadhana Chahiye

भगवान शिव श्रद्धा, तन मन से पवित्र भाव से की गई पूजा से भक्तो को खुशियों का उपहार देते है, संकट से रक्षा करते है, मन वांछित फल की प्राप्ति करते है। भगवान शिव को विशेष रूप से ठंडक एवम ऊर्जा प्रदान करने वाले जल, दूध, दही, घी, शहद, बिल्व पत्र, फल और फूल अर्पित किया जाता है। Shivratri Ke Din Shivling Par Kya Chadhana Chahiye पर हम प्रकाश डालना उचित समझते है.

शिवरात्रि के दिन शिवलिंग पर क्या चढ़ाना चाहिए | Shivratri Ke Din Shivling Par Kya Chadhana Chahiye

शिवरात्रि पूजा में सबसे पहले गणपति जी की पूजा आवश्यक है। शिवलिंग पर तांबे के लोठठे में शुद्ध जल चढ़ाया जाता है। फिर पंचामृत ( दूध, दही, शहद, घी, मिश्री ) से स्नान कराया जाता है। फिर जलाभिषेक किया जाता है। अभिषेक करते समय मंत्रो का जाप किया जाता है। बाद में चंदन से त्रिपुंड तिलक किया जावे। अक्षत ( बिना टूटे चावल ) चढ़ाए जाते है। पुष्पों में बिल्व पत्र, आक पुष्प, धतूरा अर्पण किया जाता है। फिर पान पत्ते पर सुपारी, सिक्का, लौंग, इलायची, मिश्री पुष्प शिव की जलधारी पर अर्पित किया जाता है। शिव चालीसा एवम ॐ नमः शिवाय मंत्र जप करे। बाद में जल हथेली में लेकर शिव पूजा संपन्न करे।

शिवरात्रि में शिवलिंग पर अर्पित की जाने वाली सामग्री

  1. शुद्ध जल तांबे के लोठ्ठे में।
  2. गंगाजल ।
  3. चंदन।
  4. चावल ।
  5. बिल्व पत्र ।
  6. पुष्प ।
  7. आक पुष्प ।
  8. धतूरा ।
  9. पान पत्ते पर लौंग, इलायची, मिश्री, सुपारी, सिक्का ।

शिवलिंग की पूजा करने की विधि | Shivling ki Puja Karne Ki Vidhi

भगवान शिव की एक कथानुसार अनजाने में शिवलिंग पर बिल्व पत्र चढ़ जाने, रात्रि जागरण होने, और अनजाने में व्रत हो जाने पर भी उस पर कृपा कर खुशहाल कर देते है। फिर भी नियमानुसार शिवलिंग की पूजा करने की विधि से करने पर भोले नाथ मन वांछित फल प्रदान कर संकट का निराकरण करते है। रूद्राभिषेक तांबे के लोठ्ठे में जल लेकर करे। शिव रूद्रावतार भी है, इसलिए जलाभिषेक एवम रूद्राभिषेक एक ही है। अब हम Shivling Ki Puja Karane Ki Vidhi सरल भाषा में बता रहे है।

  • शिवलिंग की पूजा शुरू करने से पहले आचमन करना जरूरी होता है। फिर धूप दीप कर ॐ नमः शिवाय मंत्र जप के साथ ही जलाभिषेक शुरू करे। पंचामृत ( दूध, दही, घी, शहद, मिश्री ) से स्नान करवाने के बाद पुनः शिव का जलाभिषेक किया जाना है। फिर शिवलिंग पर चंदन का त्रिपुंड बनाए।
  • शिवलिंग पर चावल, बिल्व पत्र, आक का पुष्प, धतूरा, भंग अर्पण किया जाता है। पान के पत्ते पर सुपारी, सिक्का, लौंग, इलायची, मिश्री का भोग जलधारी पर अर्पित किया जावे। पंचाक्षर मंत्र “” ॐ नमः शिवाय “” का 108 बार जप करे। इसके बाद आरती की जाती है। 
  • शिवलिंग पूजा में हल्दी और कुमकुम नही चढ़ाना चाहिए। केवड़ा, केतकी और चंपा के फूल शिवलिंग पर चढ़ाना वर्जित है। शिवलिंग पर तुलसी पत्र अर्पण नही किया जाता है।
  • घर के पूजा घर में स्थापित शिवलिंग की पूजा नियमित रूप से विधि विधान से करनी चाहिए। शिवलिंग की पूजा नियमित रूप से नही कर सकते तो घर में शिवलिंग स्थापित नही करना चाहिए। नियमित पूजा नही होने पर भोले बाबा कुपित हो जाते है।
  • शिवालय और मंदिरों में शिवलिंग के आकार संबंधित कोई सीमा नहीं बताई गई है। घर में शिवलिंग का आकार बड़ा नही होना चाहिए। घर पर नियमित पूजा के लिए शिवलिंग का आकार अपने अंगूठे से बड़ा नही होना चाहिए। बड़ा शिवलिंग संवेदनशील होता है। छोटे आकार का शिवलिंग शुभ होता है।

शिव पर क्या चढ़ाने से क्या फल मिलता है

भगवान शिव बड़े ही दयालु है। भगवान शिव तो श्रद्धा पूर्वक जलाभिषेक से ही प्रसन्न हो जाते है। भक्त जनों द्वारा अलग अलग कार्यों के पूर्ण करने के लिए अलग अलग श्रद्धा से सामग्री चढ़ाई जाती है अब आपके मन में यह जरूर प्रश्न पैदा हो रहा होगा कि भगवान शिव पर क्या चढ़ाने से क्या फल मिलता है हम जानते है कि देवो के देव महादेव आदि अनादि होकर भक्तो के लिए पालन, रक्षा, संकट, घर संचालन, शादी विवाह, संतान आदि की जिम्मेदारी लेते है तो उसे सफल बना देते है। अब हम भक्तो द्वारा Shiv Par Kya Chadhane Se Kya Fal Milata Hai का जवाब देने का प्रयत्न करते है –

  1. भगवान शिव पर जल चढ़ाने से शिव की कृपा हमेशा बनी रहती है। कोई भी संकट भक्तो पर नहीं आने देते है। सारी मनोकामनाएं पूर्ण होती है।
  2. शरीर के सौंदर्य और लोकप्रियता की चाह रखने वाले को शिवलिंग पर शहद चढ़ाना चाहिए।
  3. शिवलिंग पर धतूरा और गेंहू अर्पण करने से मन चाही संतान प्राप्त होती है।
  4. समृद्धि और ऐश्वर्य प्राप्ति हेतु शिवलिंग पर शक्कर चढ़ाई जाती है।
  5. भक्तो के जीवन में समृद्धि हेतु शिवलिंग पर गन्ने का रस और चावल चढ़ाए जाते है।
  6. रोगों से मुक्ति के लिए शिवलिंग पर तिल चढ़ाए जाते है। वही शिवलिंग पर दूध चढ़ाने से आरोग्य की प्राप्ति होती है ।
  7. शिवलिंग पर घी चढ़ाने पर शरीर को Energy मिलती है, वही दही अर्पण करने जीवन में उल्लास बना रहता है।
  8. इत्र शिव पर अर्पण करने से धर्म की प्राप्ति होती है तो सुगंधित तेल अर्पित करने से भौतिक सुख और संपति सुख प्राप्त होता है।
  9. केसर शिवलिंग पर चढ़ाने से  दांपत्य जीवन में खुशियां प्राप्त होती है, वही शिवलिंग पर चंदन चढ़ाने से मन सम्मान में बढ़ोतरी होती है।
  10. बुराइयों से मुक्ति पाने के लिए भंग शिवलिंग पर चढ़ाई जाती है तो बिल्वपत्र  चढ़ाने से जीवन में आने वाले संकट टल जाते है।
  11. दीर्घायु होने के लिए शिव पर आंवले का रस चढ़ाया जाता है।
  12. यदि राहु, केतु और शनि को शांत करना है तो काले उड़द शिवलिंग पर अर्पण करे। 
  13. सभी मनोकामनाओं की पूर्ति हेतु पंचामृत शिवलिंग पर अर्पित किया जाता है।
  14. जल में दुर्वा गीली कर शिवलिंग पर अर्पण करने से समस्त प्रकार के रोगों का अंत होता है।
  15. लौंग शिवलिंग पर अर्पण करने से घर में Negetivity समाप्त होकर सुख समृद्धि प्रवेश करती है। वही काली मिर्ची चढ़ाने से रोगों का अंत होता है।
  16. शिवलिंग पर जलाभिषेक के बाद फूल, बिल्वपत्र अर्पण करे चंदन का लेप करे। इसके बाद हथेली में 108 अक्षत लेकर चंदन के लेप पर एक साथ अर्पण कर दे। तुरंत आपकी मनोकामना पूर्ण होगी।

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